HANI IRANI
हनी ईरानी
हनी ईरानी हिन्दी सिनेमा की एक प्रसिद्ध लेखिका, स्क्रीनप्ले राइटर और पूर्व अभिनेत्री हैं। उनका जन्म 1950 के दशक में मुंबई के एक पारसी परिवार में हुआ था। उन्होंने अपने करियर की शुरुआत बाल कलाकार के रूप में की थी और बाद में फिल्मों में अभिनेत्री के रूप में भी काम किया। लेकिन उन्हें असली पहचान एक पटकथा लेखिका और संवेदनशील कहानीकार के रूप में मिली।
हनी ईरानी ने 1960 और 70 के दशक में कई फिल्मों में छोटे-मोटे अभिनय किए, लेकिन जब उन्होंने लेखन की ओर रुख किया, तो उन्हें हिन्दी सिनेमा में एक नया मुकाम मिला। उन्होंने लम्हे (1991) जैसी फिल्मों से पटकथा लेखन की शुरुआत की। इसके बाद उन्होंने दिलवाले दुल्हनिया ले जाएंगे, कहो ना प्यार है, क्या कहना, कोई मिल गया, क्रिश जैसी कई सफल फिल्मों की कहानी और संवाद लिखे।
उनकी कहानियाँ भावनात्मक गहराई, पारिवारिक मूल्यों और समाज के जटिल पहलुओं को संवेदनशीलता के साथ दर्शाती हैं। उन्हें लेखन के लिए कई पुरस्कार मिले हैं और वे महिला लेखकों के लिए एक प्रेरणा स्रोत मानी जाती हैं।
हनी ईरानी की शादी प्रसिद्ध गीतकार जावेद अख़्तर से हुई थी, लेकिन बाद में दोनों का तलाक हो गया। उनके दो बच्चे हैं — बेटा फरहान अख़्तर (अभिनेता-निर्देशक) और बेटी जोया अख़्तर (फिल्म निर्देशक-लेखिका) — दोनों ने हिन्दी सिनेमा में बड़ा नाम कमाया है।
हनी ईरानी आज भी अपने लेखन और रचनात्मक दृष्टिकोण के लिए जानी जाती हैं। उन्होंने न केवल पर्दे पर, बल्कि पर्दे के पीछे रहकर भी भारतीय सिनेमा को एक नई दिशा दी है। वे एक सशक्त महिला कलाकार और प्रेरणादायक लेखिका हैं।
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