ITAIPU DAM, SOUTH AMERICA

 इटाइपू बाँध (Itaipu Dam) 

इटाइपू बाँध विश्व के सबसे प्रसिद्ध और विशाल जलविद्युत परियोजनाओं में से एक है। यह बाँध दक्षिण अमेरिका में ब्राज़ील और पराग्वे की साझा सीमा पर पराना नदी पर स्थित है। इटाइपू बाँध को दुनिया की सबसे बड़ी जलविद्युत परियोजनाओं में गिना जाता है। इसका निर्माण दोनों देशों के सहयोग से किया गया, जो अंतरराष्ट्रीय साझेदारी का एक उत्कृष्ट उदाहरण है।

इटाइपू बाँध का निर्माण कार्य वर्ष 1975 में शुरू हुआ और 1984 में यह पूरी तरह से विद्युत उत्पादन के लिए तैयार हो गया। “इटाइपू” नाम का अर्थ स्थानीय गुआरानी भाषा में “गूंजता हुआ पत्थर” या “पत्थरों की आवाज़” बताया जाता है। यह नाम नदी के पुराने जलप्रपातों से प्रेरित है।

इस बाँध की कुल स्थापित विद्युत क्षमता लगभग 14,000 मेगावाट है, जिससे यह लंबे समय तक विश्व का सबसे अधिक बिजली उत्पादन करने वाला जलविद्युत संयंत्र रहा। इटाइपू बाँध से उत्पन्न बिजली का बड़ा हिस्सा पराग्वे की ऊर्जा आवश्यकताओं को पूरा करता है, जबकि ब्राज़ील भी इससे बड़ी मात्रा में बिजली प्राप्त करता है। पराग्वे अपनी अधिकांश बिजली जरूरतों के लिए इसी बाँध पर निर्भर है।

इटाइपू बाँध का निर्माण इंजीनियरिंग का एक अद्भुत नमूना माना जाता है। इसके निर्माण में विशाल मात्रा में कंक्रीट और आधुनिक तकनीकों का उपयोग किया गया। बाँध की ऊँचाई, चौड़ाई और संरचना इसे विश्व के सबसे मजबूत बाँधों में शामिल करती है। इसके कारण पराना नदी पर एक विशाल जलाशय का निर्माण हुआ, जिसने क्षेत्र की ऊर्जा और जल प्रबंधन क्षमता को बढ़ाया।

आर्थिक दृष्टि से इटाइपू बाँध ने दोनों देशों के औद्योगिक विकास को गति दी है। साथ ही यह परियोजना रोजगार सृजन और क्षेत्रीय विकास में भी सहायक रही है। हालांकि, इसके निर्माण से कुछ प्राकृतिक क्षेत्रों और स्थानीय आबादी पर प्रभाव पड़ा, जिससे पर्यावरणीय और सामाजिक चुनौतियाँ भी सामने आईं।

कुल मिलाकर, इटाइपू बाँध विश्व की ऊर्जा आवश्यकताओं को स्वच्छ और नवीकरणीय स्रोत से पूरा करने का एक प्रमुख उदाहरण है और यह आधुनिक जलविद्युत इंजीनियरिंग की एक ऐतिहासिक उपलब्धि माना जाता है।

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