DR KESHAV BALIRAM HEDGEWAR
डॉ. हेडगेवार: राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के संस्थापक
डॉ. केशव बलिराम हेडगेवार (Dr. Keshav Baliram Hedgewar) एक महान राष्ट्रभक्त, समाज सुधारक और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) के संस्थापक थे। उनका जीवन भारत के सांस्कृतिक और सामाजिक पुनर्जागरण के लिए समर्पित था।
प्रारंभिक जीवन और शिक्षा
डॉ. हेडगेवार का जन्म 1 अप्रैल 1889 को महाराष्ट्र के नागपुर में हुआ था। उनके परिवार की आर्थिक स्थिति साधारण थी, लेकिन उन्होंने शिक्षा को प्राथमिकता दी। प्रारंभिक शिक्षा के बाद, उन्होंने कलकत्ता मेडिकल कॉलेज से डॉक्टरी की पढ़ाई की। इस दौरान वे क्रांतिकारी गतिविधियों से जुड़े और स्वतंत्रता संग्राम में भाग लेने लगे।
राष्ट्रभक्ति और स्वतंत्रता संग्राम
कलकत्ता में रहते हुए, डॉ. हेडगेवार ने अनुशीलन समिति जैसी क्रांतिकारी संस्थाओं के संपर्क में आकर ब्रिटिश शासन के खिलाफ आंदोलन किया। 1910 में डॉक्टरी की पढ़ाई पूरी करने के बाद वे नागपुर लौट आए और स्वतंत्रता संग्राम में सक्रिय रूप से भाग लेने लगे। 1921 में, असहयोग आंदोलन में भाग लेने के कारण उन्हें जेल भी जाना पड़ा।
राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) की स्थापना
डॉ. हेडगेवार ने महसूस किया कि भारत की स्वतंत्रता केवल अंग्रेजों से मुक्ति तक सीमित नहीं होनी चाहिए, बल्कि भारतीय समाज को आत्मनिर्भर और संगठित भी बनाना होगा। इसी उद्देश्य से उन्होंने 27 सितंबर 1925 को नागपुर में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) की स्थापना की।
RSS का मुख्य उद्देश्य भारत में राष्ट्रभक्ति, अनुशासन और सामाजिक समरसता को बढ़ावा देना था। संगठन के माध्यम से उन्होंने लाखों युवाओं को एकजुट किया और समाजसेवा व देशभक्ति की भावना को विकसित किया।
डॉ. हेडगेवार का विचारधारा और योगदान
- संघटन की शक्ति – उन्होंने समाज को संगठित करने पर जोर दिया और अनुशासन व स्वाभिमान को महत्व दिया।
- शिक्षा और संस्कार – वे भारतीय संस्कृति और परंपराओं के संवर्धन पर बल देते थे।
- समाजसेवा और राष्ट्रनिर्माण – RSS के माध्यम से उन्होंने समाज में जातिगत भेदभाव मिटाने और राष्ट्रीय एकता को मजबूत करने का प्रयास किया।
निधन और विरासत
अत्यधिक परिश्रम और राष्ट्र के प्रति समर्पण के कारण डॉ. हेडगेवार का स्वास्थ्य बिगड़ने लगा। 21 जून 1940 को उनका निधन हो गया। उनकी विरासत आज भी RSS के रूप में जीवित है, जो भारत में सामाजिक और सांस्कृतिक जागरूकता को बढ़ावा देने का कार्य कर रहा है।
निष्कर्ष
डॉ. केशव बलिराम हेडगेवार भारतीय समाज और राष्ट्रनिर्माण के लिए एक प्रेरणास्रोत थे। उन्होंने केवल स्वतंत्रता संग्राम तक अपने योगदान को सीमित नहीं रखा, बल्कि एक संगठित और आत्मनिर्भर भारत के निर्माण के लिए राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की नींव रखी। उनका जीवन देशभक्ति, सेवा और समर्पण का प्रतीक है, जो आज भी लाखों लोगों को प्रेरित करता है।
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